Delhi Assembly Elections: दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए आम आदमी पार्टी (AAP) के भीतर एक नई हलचल मच गई है, जब पार्टी ने तिमारपुर विधानसभा से अपने वरिष्ठ नेता और विधायक दिलीप पांडेय का टिकट काटने का फैसला लिया। इस फैसले ने तिमारपुर में पार्टी के कार्यकर्ताओं के बीच विरोध की लहर पैदा कर दी है। पांडेय के समर्थक और स्थानीय कार्यकर्ता अब खुलकर विरोध जता रहे हैं, और कई पदाधिकारियों ने पार्टी से इस्तीफा भी दे दिया है।
दिलीप पांडेय का टिकट कटने के बाद
दिलीप पांडेय के टिकट कटने के बाद, तिमारपुर विधानसभा क्षेत्र में ‘आप’ के कार्यकर्ताओं ने एकजुट होकर पार्टी के फैसले के खिलाफ आवाज़ उठाई। एक वायरल वीडियो में दर्जनों कार्यकर्ता और पदाधिकारी इस्तीफा देते हुए नजर आए। वीडियो में रोती हुई एक महिला कार्यकर्ता यह कहती हुई दिख रही है कि वह नए उम्मीदवार के लिए काम नहीं करेंगे, क्योंकि उन्होंने पहले भी उसी व्यक्ति के खिलाफ चुनाव लड़ा था और हराया था।
इन कार्यकर्ताओं ने यह भी कहा कि वे पार्टी की सदस्यता तो नहीं छोड़ेंगे, लेकिन सभी पदों से इस्तीफा दे रहे हैं। उनका कहना है कि दिलीप पांडेय का टिकट काटने का कारण स्पष्ट किया जाए, और जब तक यह फैसला नहीं होता, तब तक वे कोई काम नहीं करेंगे।
कार्यकर्ताओं का गुस्सा और सोशल मीडिया पर प्रतिक्रिया
पार्टी के फैसले के बाद कई पदाधिकारियों ने सोशल मीडिया पर अपने इस्तीफे साझा किए और अरविंद केजरीवाल समेत अन्य पार्टी नेताओं को टैग किया। इस दौरान दिलीप पांडेय के समर्थक अपने गुस्से और नाराजगी को सोशल मीडिया के जरिए व्यक्त कर रहे हैं। तिमारपुर के सोशल मीडिया इंचार्ज, सुंदर मल्होत्रा ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर अपने इस्तीफे का पोस्ट किया और लिखा कि वह ऐसे व्यक्ति के लिए नहीं लड़ सकते, जिसने तीन बार हारने के बावजूद टिकट हासिल किया है।
सुरेंद्र पाल सिंह बिट्टू का ‘आप’ में शामिल होना
वहीं, तिमारपुर विधानसभा से भा.ज.पा. के नेता सुरेंद्र पाल सिंह बिट्टू के आम आदमी पार्टी में शामिल होने के बाद से यह कयास लगाए जा रहे हैं कि उन्हें पार्टी से टिकट मिलेगा। बिट्टू, जो तिमारपुर से दो बार विधायक रह चुके हैं, का पार्टी में शामिल होना कई कार्यकर्ताओं को नागवार गुजर रहा है। वे यह मानते हैं कि यह फैसला स्थानीय कार्यकर्ताओं और दिलीप पांडेय के खिलाफ है, जिन्होंने पार्टी के लिए लंबे समय तक मेहनत की है।
दिलीप पांडेय का बयान
दिलीप पांडेय ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर यह स्पष्ट किया कि वह आगामी विधानसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे। उन्होंने लिखा, “राजनीति में संगठन निर्माण और चुनाव लड़ने के बाद अब समय है कि मैं पार्टी में ही कुछ और योगदान दूं। तिमारपुर विधानसभा में चुनाव जो भी लड़े, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ही बनेंगे, और हम सब मिलकर यह सुनिश्चित करेंगे।”
उनके इस बयान से यह साफ हो गया है कि वे चुनाव में उम्मीदवार नहीं बनना चाहते, लेकिन पार्टी में सक्रिय रहते हुए कुछ अन्य कार्यों को करना चाहते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि उनका विश्वास पार्टी के साथ रहेगा और वे कार्यकर्ताओं से संपर्क बनाए रखेंगे।