Geeta Bishnoi Success Story: सेल्फ स्टडी के दम पर पहले ही प्रयास में सब इंस्पेक्टर बनीं गीता, रोजाना 5 KM पैदल चलकर जाती थी स्कूल
मेहनत करने का जनून अगर हो तो फिर परिस्थितियां चाहे कैसी भी हों और इसी बात को साबित कर दिखाया है एक साधारण से परिवार से ताल्लुक रखने वाली इस बेटी ने जिसने मेहनत के दम पर ये मुकाम पाया है।

Churu : मेहनत करने का जनून अगर हो तो फिर परिस्थितियां चाहे कैसी भी हों और इसी बात को साबित कर दिखाया है एक साधारण से परिवार से ताल्लुक रखने वाली इस बेटी ने जिसने मेहनत के दम पर ये मुकाम पाया है।
अनूपगढ़ के खमीशा गांव निवासी गीता बिश्नोई जिन्होंने सेल्फ स्टडी के दम पर अपने पहले ही प्रयास में सब इंस्पेक्टर का एग्जाम पास कर ये साबित कर दिया कि मेहनत करने वालों की कभी हार नही होती।
जिनके मेहनत ओर प्रयास प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे युवक, युवतियों के लिए एक बड़ी मिसाल है। चूरू के कोतवाली थाने में तैनात सब इंस्पेक्टर गीता बिश्नोई जिनकी प्रेरणादायी कहानी भले ही फिल्मी लगे लेकिन इनकी मेहनत ओर संघर्ष वास्तविक था।
पैदल चलकर जाती थी सरकारी स्कूल
गीता बिश्नोई बताती हैं उनके पिता एक साधारण किसान हैं और मां हाउस वाइफ है। पांच भाई-बहनों में वह दो भाइयों से छोटी है। गीता बताती हैं कि उनके गांव में पांचवी क्लॉस तक स्कूल था। छठी क्लॉस से लेकर आठवी क्लॉस तक की पढ़ाई उन्होंने अपने गांव से 5 किलोमीटर दूर सरकारी स्कूल से की है।
वह प्रतिदिन पैदल जाती थी।बिश्नोई बताती हैं आठवी क्लॉस तक उनकी पढ़ाई अनवरत जारी थी लेकिन बाद में परिवार पर ऐसा संकट आया कि उनके लिए निर्बाध रूप से पढ़ाई जारी रखना किसी चुनौती से कम नही था।
हासिल की थी सफलता
गीता की सफलता इसलिए भी खास थी की इन्होंने बिना कोचिंग सेल्फ स्टडी के दम पर ये सफलता हासिल की और ट्रेनिग के बाद 2022 में उन्हें पोस्टिंग मिली।
माता, पिता हमेशा हौसला बढ़ाते और कुछ बड़ा करने के लिए प्रेरित करते जिसके बाद उन्होंने रेगुलर न जाकर प्राइवेट दसवीं और 12 वी पास की और ग्रेजुएशन किया और साल 2018 में एसआई का एग्जाम दिया और साल 2019 में आए परिणाम में उन्होंने सफलता हासिल की।